Pati-Patni

Author:

Chitra Garg

Publisher:

V & S Publishers

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Publisher

V & S Publishers

Publication Year 2016
ISBN-13

9789350576762

ISBN-10 9789350576762
Binding

Paperback

Number of Pages 64 Pages
Language (Hindi)
Weight (grms) 95
भारतीय समाज में नारी की एक अहम भूमिका रहती है। वह पूरे परिवार में धुरी का कार्य करती है, जिसके इर्द-गिर्द परिवार की सभी समस्याएं सुलझाने एवं परिवार के सभी सदस्यों के साथ समुचित सामंजस्य रखने का महत्वपूर्ण दायित्व होता है। जो इसमें सफल हो जाती है, उसे ही भाग्यवान कहा जाता है। वही वास्तव में वह घर की रानी है। आज की तेज़ रफ़्तार ज़िंदगी में रिश्ते भी जटिल हो गए हैं। तरह-तरह के स्वार्थों, ईर्ष्या-द्वेष, आगे बढ़ने की होड़ हो या नीचा दिखाने की प्रवृत्तियां, इस भंवरजाल से उसे गुज़रना ही पड़ता है। इस सबसे उबर कर तमाम तरह के रिश्तों का बड़ी ख़ूबी से निर्वाह करने वाली नारी ही वास्तव में इस दौर में सफल कहलाएगी। रिश्ते मज़बूत रहे, उनमें निरंतरता बनी रहे, वे सुख और समृद्धि को बनाये रखने में सहायक हों, तो समझिए नारी ने अपने जीवन के शक्तिशाली दुर्ग को जीत लिया है। वास्तव में यह पुस्तक पति-पत्नी के रिश्ते के निर्वाह को लेकर सफल गृहिणी कहलाने का मार्ग प्रशस्त करती है और यह बताती है कि पति के साथ अपने सम्बन्धों की मर्यादा किस प्रकार बनाए रखें।

Chitra Garg

चित्रा गर्ग लगभग २८ वर्षो से निरंतर लेखन से जुडी है। उनकी कहानियां तथा अन्य रचनाए विभिन्न प्रतिश्ठ पत्र-पत्रिकाओं मे निरंतर प्रकाशित होती रहती है। बाल कथाएं तो वह लिखती ही है, इसके अतिरिक्त विज्ञान, हस्तशिल्प, पाक-कला, भ्रमण, कैर्रिएर, जीवनी और मार्शल आर्ट सहित अनेक विषयो पर उन्होंने काम किया है। इस तरह उनकी 35 से भी अधिक पुस्तके अब तक प्रकाशित हो चुकी है। वह दूरदर्शन के लिए भी अनेक कार्यक्रमों का निर्माण तथा निर्देशन कर चुकी है। देश-विदेश की यात्राओं मे उनकी बड़ी रूचि है। अमेरिका, कनाडा, इंग्लैंड, जर्मनी आदि देशो मे जाकर वह खूब घूमी-फिरी है।
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